गुरुवार, 24 मई 2018

प्रेरणादायक शेर









किसी नेकी के बदले  गर बदी मिल जाय  दुनिया में
न हों मायूस    वह  मालिक  सदा  इंसाफ  करता है

महक गुलशन के उस गुल की कभी  फीकी नहीं पड़ती
    हमेशा   गर्दिश  ए   तूफ़ान  में   जो  मुस्कराता  है


किसी भी दर्द का मुझ पर असर नहीं होता
ग़म के साये में भी  खुशियाँ तलाश लेता हूँ

झीलों  नदियों  की  अहमियत  समझो,
हमारी प्यास समुंदर नही बुझा  सकता

हुनर  सफ़र में  बुलंदी  तलाश ले  फिर भी
अपनी नजरों को सलीके से झुकाये रखना

मिलेगा मर्तबा  हस्ती  को  बचाये रखना
सफ़र के वास्ते कश्ती को सजाये रखना

रोक  पायेगा  रास्ता  क्या  तुम्हारा  तूफाँ
अपनी  यारी  यूँ  समंदर से बनाये रखना


कुछ करने का सच्चा जुनून  जज्बे का साथ निभाता है
परवाज़  हौसले की पाकर जांबाज़ कहाँ  रुक  पाता है
जो  इंक़लाब  का  नारा  दे  कुर्बान  जवानी  कर  डाले
आज़ादी का मक़सद लेकर वह भगत सिंह बन जाता है

जीत ले  हर एक  बाज़ी  हौसले  के  जोर से
खुद फ़लक सजदा करे परवाज़ ऐसी चाहिए

गम कभी  जब  आजमाने  ही लगे,
तुम किसी  अंजाम  से  डरना नहीं।
जब घिरे  दुख दर्द  की  काली घटा,
बादलों  की  शाम   से  डरना  नहीं।
आएगी चौखट पे भी एक दिन  खुशी,
गम के  इस  मेहमान  से  डरना नहीं।



हमारे जांबाज़ वीर जवानों के लिए कुछ पंक्तियाँ
लिख रहा हूँ!-मेरा उनके जज़्बे को  शत-शत नमन..

मोहब्बत है वतन से ये,  कभी  पीछे  नहीं हटते,
हमेशा  सरहदों  पर  जान की  बाजी  लगाते हैं!
हिफाज़त में वतन की,रहते हैं हर पल ये चौकन्ने,
नहीं  डर  है  इन्हे ये " मौत से  आँखे  लड़ाते हैं।"

हजारों फिट की ऊँचाई, जहाँ जीना ही मुश्किल है, 
वहाँ  जांबाज़  बढ़ कर  जंग में  जलवा दिखाते हैं। 
डटे  रहते  हैं  , बर्फीली  हवा  के  बीच   रातों  में,
निभाते  फर्ज़  हैं वो," हम  शुकूं की  नींद  पाते हैं।"

                         ll जय  हिन्द l

हरिशंकर पाण्डेय 'सुमित'

Shayari Saagar

मशहूर दिलकश हर रंग की शायरी

दोस्तों,  सजा कर  शायरी की इक नई सौगात  लाया  हूॅ॑ खुशी और ग़म के सारे रंग और हालात लाया हूॅ॑ किताब ए जिंदगी  से पेश हैं...